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मंगल बद

समय करे नर या कर, समय बड़ा बलवान

असर ह सब पर कर, पशु प र द या इ सान

जब इ सान क बात आती है तो सबसे पहले बात आती है प रवार क , यं#ू क प रवार से हम
%दल से जड़े
ु होते ह( हमारा बचपन प रवार के बीच ह' बीतता है | सवदनशील )वषय होने के
कारण प रवार म हम आपस म जड़े
ु होते ह( प रवार के दःख
ु और परे शा/नय0 का असर हम
पर पड़ता है | ले#कन या ऐसे कारण होते ह( #क भाई भाई भाई का द4मन
ु बन जाता है )पता
प5
ु क नह'ं सनता
ु , और प5
ु )पता क नह'ं सनता
ु , यँू छोटे छोटे झगड़े होते ह(, और वो हम
कोट: कचहर' तक खींच ले जाते ह( ऐसी कई वज़ह होती ह( #क िजसक वजह से प रवार =बखर
जाता है, टट
ू जाता है, बर'
ु तरह से >भा)वत हो जाता है |

समय करे नर या कर, समय बड़ा बलवान

असर ह सब पर कर, पशु प र द या इ सान

या/न क हम उन सभी ह0 से जड़े ु हएु ह( उन 9 ह0 के अधीन हम चल रहे ह( |


लाल #कताब को र त से संबध
ं रखती है हमारा प रवार, र त से संबBं धत र4तेदार, र4तेनाते

पराने
ु ज़माने म सारे लोग आपस म जड़ ु कर रहते थे उनका एक कटं
ु ु ब हआु करता था उअर
उनक बहत ु सी >ोDलम वह'E पर यह' कलह ले श का योग बनता है , इस योग को ह' लाल
#कताब एक नाम %दया गया है "मंगल बद" मंगल बद कहने का अGभ>ाय ये है मंगल जो बरा

है , बद का अथ होता है बरा
ु मंगल जो बरा
ु है वो है आपका र त, आपका संबध
ं , आपका खन
ू ,
खन
ू ह' अपने खन
ू का Hयासा होने लगता है )पता प5
ु का द4मन
ु होने लगता है पर जब इस
तरह क योग आते ह( तो #कसी क कंु डल' म मंगल बद बन जाता है तो अपने ह' प रवार
वाले, अपने ह' खन
ू के र4तेदार पण:
ू Jप से आपके Gलए नकसानदायक
ु हो जाते ह( आपका
खन
ू आपका र त शर'र म आपके Gलए ज़हर पैदा करने लगता है, खन
ू क बीमा रयाँ हो जाती
ह(, शर'र म चीरफाड़ होने शJ
ु हो जाते ह( ए सीडट आये %दन प रवार म #कसी न #कसी का
होता रहता है, मंगल ह' संबध
ं रखता है संबध
ं रखता है आपके मंगल कायL को, जब भी ख़शी

का कोई मौक़ा आता है तो आपस म झगड पड़ते ह(, कोई कलह लेश परू माहोल को ख़राब
कर दे ता है, दःख
ु से भर दे ता है और आपके जीवन म खश
ु का समय मातम म बदल जाता है
|
मंगल बद जब जब >भा)वत हो जाता है #कसी जातक क कंु डल' म तो ऐसे म अपने खन

के र4तेदार अपनी आँख0 को जांचते नह'ं है, उनक बाते जातक को चभती
ु ह( और ये योग है

यूँ क ह असर सब पर करते ह जब मंगल बद है आपक! कंु डल# म$ तो ये योग आपके


ु रहे गा, भाई भाई के साथ Pवेष बनाने लगेगा, योग कई
प रवार म और0 के साथ भी जदा
&कार से बनता है, कई ह' के योग से बनता है जैसे सय
ू और श)न जब ये दोन0 ह
Gमल जाते ह( या इकQे हो जाते ह(, सरज
ू जो )पता है, सरज
ू जो >काश है और श/न जो
अंधकार है, जो सय:
ू का प5
ु है, ले#कन इन दोन0 ह0 क नेचर आपस म नह'ं Gमलती, ये दोन0
ह एक दसरे
ू से )वमख
ु हो कर चलते ह( तो यहाँ पर मंगल बद हो जाता है या/न सय:
ू और
श/न Gमलकर एक ऐसा सवभाव दे दे ते ह( िजसको राहु का सवभाव कहा जाता है , या)न
मंगल बद का मतलब होता है, राहु का ,वभाव, गंदा ,वभाव, या)न सय
ू का &काश और
श)न का अंधकार जब .मलते ह तो सं/या होती है और सं/या को राहु कहा गया है,
सं/या उदासीनता है, सं/या जब ढलती है तो जीव जंतु इ सान सब अपने आपने काम को
/नबटा कर अपने घर को जाने क #फ़राक म रहते ह( तो ऐसे ह' एक >काश का ढलना ख़शी

का ढलना यहाँ राहु का &भाव या सवभाव आ जाता है , िजस मंगल बद का नाम 4दया
गया है होता इसम या #क इ सान के जब सय:
ू और श/न कंु डल' म इकQे ये योग बना दे ते ह(
तो )पता और प5
ु क आपस म )वचार नह'ं Gमल पाते, एक दसरे
ू के इतने )वUV हो जाते ह(
#क कोट: कचहर', हािWपटल के च कर आये %दन लगते रहते ह(, अपने ह' खन
ू के र4तेदार0 से
ऐसा इ सान )वमख
ु हो जाता है अपने प रवार म ख़ास कर अपने )पता के Gलए वो #कसी न
#कसी Jप से षXयं5कार' ब)V
ु सवभाव रखना शJ
ु कर दे ता है और होता ये है #क शर'र म
जो अपनी एनजY है उसको पण:
ू Jप से खZम कर दे ता है जो उसके )वचार ह( उ[च )वचार ह(
उनको पण:
ू Jप से %हत कर दे ता है और )पता का Gलए वो ह0 के Jप म इस तरह से
क\टकार' हो जाता है #क या तो उसे )पता का सख
ु ह' नह'ं Gमल पाता, और य%द )पता
जी)वत ह( तो उनके साथ इतने वैचा रक मतभेद पैदा कर लेता है #क दर'
ू बन जाती ह( अपने
ह' )पता क इ]ज़त मान >/त\ठा को पण:
ू Jप से खZम करने क #फ़राक म रहता है अपने
प रवार के नाम, इ]ज़त >/त\ठा को ख़राब करने लगता है, ये सब सय:
ू और श/न के मेल के
कारण होता है

जब मंगल के साथ बध
ु का योग बनता है, मंगल ताक़त है, बध
ु ब)V
ु है, और #कसी
इ सान क कंु डल' म दोन0 ह इकQे आ जाते ह( तो #फर से मंगल बद बन जाता है, मंगल
वाल' ताक़त, बध
ु या/न ब)V
ु , और जब #कसी इ सान के पास ताक़त भी आ जाये और ब)V

भी तो वो _Gमत हो जाता है, ]यादा ताक़त और ]यादा ब)V
ु इ सान को हमेशां गलत काम
क तरफ़ धकेलती है और ऐसे म =बजनेस पण:
ू Jप से चौपट हो जाता है ऐसा इ सान अपनी
ताकत को या तो बहत
ु ]यादा >योग करता है या तो =बलकल
ु ह' >योग नह'ं करता या/न
अगर उसके अंदर ताकत या/न मंगल क >धानता ]यादा हो जाती है तो ऐसा इ सान दसर0

को धमका कर दसर0
ू के साथ मार-पीट करके आये %दन #कसी न #कसी के साथ झगड़े कर के
अपने प रवार म कलह लेश कर के, ऐसा इ सान दसर0
ू को दबाने क कोGशश करता है, अगर

#कसी तरह से बध
ु एि टव हो जाये तो ऐसा इ सान होता तो बड़ा दDबू है , ले#कन अपनी
ब)V
ु से षयडन5कार', कोई न कोई माहौल पैदा कर दे ता है, कब कहाँ पर #कसको धोखा दे दे
उसक कोई नीयत का पता नह'ं चलता |

मंगल बद के कारण अगर चौथे घर म मंगल आता है तो मंगल'क दोष तो बनता ह'
है साथ म मंगल बद योग बनाता है, मंगल जो अिaन का कारक है, एक अंगारा है, और जब
वो चौथे घर म आता है, जो सख
ु समBध
ृ का है, जल का है, च cमा का घर है , पानी का घर है,
जहाँ शीतलता पण:
ू Jप से दे खी जाती है वो अंगारा आके पण:
ू Jप से उस पानी को सखा
ु दे ता
है , या/न चंc के >भाव को ख़राब कर दे ता है, चौथा घर भी प रवार का होता है तो उस घर को
पण:
ू Jप से जला दे ता है यहाँ पर घर प रवार के अंदर वो इ सान अपने ह' घर को जलाने
वाला, उजाड़ने वाला होता है, अपने ह' बाप दादा क जो भी कमाई होती है उसे पण:
ू Jप से
ख़राब करने म लगा रहता है | अपने घर म आये %दन कोई न कोई लेश का कारण बन
जाता है या लेश का कारण बना दे ता है | इस तरह क िWथ/त मंगल के चौथे घर म आने
के कारण होती है |

ु अगर आठव घर म अकेले बैठे ह0 तो तो यहाँ भी मंगल बद


ऐसी कोई कंु डल' म बध
योग बन जाता है मंगल बद योग या/न आठवाँ घर जो मौत का है जहाँ बध
ु क ब)V
ु आकर
उस मौत के खौफ़ को इ सान के %दमाग म बहत ु ]यादा बढ़ा दे ता है तो इस तरह इ सान
अपने आप से बहत
ु ]यादा _Gमत हो जाता है, उसे हर चीज़ अपने Gलए ख़तरनाक लगती है,
वो हर #कसी पर शक या सस%टव वहम पैदा कर दे ता है िजसके कारण उसको अपने Gलए
परे शा/नयाँ पैदा होनी शJ
ु हो जाती ह( | बहन बआ
ु बेट' मासी इन से उसक सब से परे शानी
हो जाती है या या उनके साथ वो दे सकता है #कसी न #कसी तरह से इस तरह के माहौल
पैदा कर दे ता है तो जब बध
ु आठव घर हो तब भी ये मंगल बद योग बनता है |

मंगल का तीसरा घर होता है तीसरे घर म जब अकेले बध


ु हो या केतु तब भी यहाँ
मंगल बद योग बनता है मंगल बद योग होने के कारण ऐसे म इ सान के जीवन म एक इस
तरह क िWथ/त पैदा हो जाती है #क जो अपने छोटे भाई बहन ह(, वो उनको Wटड
( करने क
पर'
ू पर'
ू कोGशश करता है, ले#कन #कसी न #कसी Jप म वो उनके ऊपर fहमने%टंग नेचर
अपना दे ता है उसके कारण वो अपने भाई बहन0 का पहले तो सख
ु >ाHत नह'ं कर पाता है,
और #कसी तरह से वो साथ म ह( तो पण:
ू Jप से पनप नह'ं पाते, और यहाँ पर वो
दख0
ु का सामना करता है | इसी >कार अगर हम यहाँ पर बात कर मंगल और केतु क तो
मंगल और केतु जब भी कंु डल' म इकQे हो जाते ह( तो इ सान के जीवन म =बमा रय0 का
पण:
ू Jप से बसेरा हो जाता है, और होता या है, चीर-फाड़, ए सीडट, रोज आये %दन #कसी न
#कसी Jप से =बमा रय0 का खचा: आए %दन लगा रहता है या #फर कोट: कचहर' हWपताल के
च कर लगते ह( | मंगल और केतु के योग म$ इ सान का प5
ु जब पैदा होता है तो उसके
Gलए दख0
ु का सामना करना पड़ता है या/न िजस %दन उसका संतान Wथा)पत हो या)न केतु
,था6पत हआ
ु उस 4दन से मंगल बद एि टव हो जाता है और वह' प5
ु िजसे बड़ी
कामनाओं से पाना चाहा वह' प5
ु उसके जीवन का सबसे बड़ा मातम का योग बनाता है |

कंु डल' म एक बहतु गहरा योग होता हो िजसको भाaय Wथान या/न खाना नंबर 9 म
शh
ु दे व के आने से होता है, शh
ु दे व जो W5ी के कारक ह(, वैभव के कारक ह(, ऐशो आराम के
कारक ह(, पZनी के कारक ह(, जीवन साथी के कारक ह(, जब #कसी क कंु डल' म आ जाते ह( तो
ये मंगल बद का योग बना दे ता है मंगल को पण:
ू Jप से ख़राब कर दे ता है, य0#क ये
बहWपत
ृ का घर है, और बहWपत
ृ के घर म शh
ु दे व का आना बहWपत
ृ के फल को पण:
ू Jप से
ख़राब कर दे ता है, बहWपत
ृ जो भाaय का घर है नौवां घर जो भाaय का घर है, शh
ु के आने
से जीवन म, जो जीवन साथी है वो ह' आपके बहतु बड़ा Gसरदद: बन जाता है, आये %दन कोई
न कोई शाद' के मातम वाले ऐसी िWथ/त पैदा हो जाती है #क परे शा/नयाँ, कारण खड़े हो जाते
ह( |

कैसे जाने मंगल बद के बारे म$

मंगल बद के हालात दे खकर आप अपने सार' चीज0 का iान कर सकते ह( #क मंगल आपके
Gलए शभ
ु या या अशभ
ु , आपके घर प रवार म अगर बड़ी ऊमर या समय बीतता जा रहा है,
मंगल काय: नह'ं हो रहे ह(, शाद' Dयाह म दे र' हो रह' है, संतान पैदा होने म दे र' हो रह' है ये
सब मंगल बद क नेBग%टव होने क पहल' /नशानी है | जो भी 28 से 33 क उj होती है इस
समय अगर #कसी के साथ बहत ु ]यादा घटनाएँ घट रह' ह0, या ऐसा इ सान अपने प रवार
म, अपने खन
ू के र4तेदार0 से कह'ं न कह'ं अलगाव वाल' िWथ/त म /घर जाता है तो
ये मंगल बद क दसर'
ू /नशानी ह( | घर म Jपया पैसा #कतना भी आये #फर भी बरकत न हो
और जो भी पैसा आ रहा है, वो या तो कोट: कचहर' म जा रहा या या =बमा रय0 म जा रहा
है , तो ये मंगल बद क /नशानी है | अपने ह' घर म जब आप कोई ख़शी
ु मनाने क #फ़राक म
होते ह( कोई बथ:डे मना रहे होते ह(, कोई शाद' का समागम कर रहे होते ह( और उसी समय
कोई मातम का माहौल पैदा हो जाये, #कसी क मौत हो जाती है कोई ए सीडट हो जाता है,या
कोई अशभ
ु काय: होना शJ
ु हो जाता है तो ये मंगल बद के पण:
ू >भाव होने क /नशानी है |
इन चीज0 से आप दे ख सकते ह( #क मंगल बद है | इसके इलावा अगर आप साउथ फेGसंग घर
म रहते ह(, आपके घर के अगल-बगल आमने सामने कोई खला
ु मैदान पाक: या Hलाट है या
कोई नीम, क कर या बेर' आसपास लगा हआ
ु है, कोई तंदरू भkी आपके अगल बगल म जलती
हो, घर म #कसी न #कसी कारण से आप अपने घर म भkी लगवा लेते ह(, हलवाई =बठा लेते
ह(, और अगर आपके घर के अगल-बगल म कोयला जलाने वाला कोई काय: होता है तो, जैसे

>ैस वाला बैठा हो या कोई हलवाई बैठा हो या कोई भlी जल रह' हो तो ये मंगल बद के
नेगे%टव होने क /नशानी है | इसके इलावा आपके घर के दmnण %दशा म कोई सीवर का गढ़ा
बना हआ
ु है या आपके घर के )पछले %हWसे ख़ासकर दmnण %हWसे म अगर कोई बहत ु बड़ा
नाला बह रहा है, तो ये भी मंगल बद क /नशानी है | घर म, जब भी आप शर'र क बात कर
तो प रवार म कोई न कोई र त से संबBधत
ं परे शानी जैसे हाई Dलड >ेशर, लो Dलड >ेशर क
Gशकायत हो,पेट का ख़राब होना, पेट का डाईजेशन ख़राब रहना, आंतो म हमेशां जलन पैदा
होना इ फै शन का होना, बवासीर का होना, कDज़ का बनना, या पेट के अंदर कछ
ु चीजो का
आपरे शन के ज़ रये बाहर /नकाल दे ना ये सब मंगल बद क नेBग%टव होने क /नशानी है | घर
म जो भी संतान पैदा हो रह' है, Gमसकैरे ज हो रहे ह( या #फर =बना आपरे शन के पैदा ह' नह'ं
हो रहे ह( तो ये मंगल बद क पण:
ू /नशानी है |

मंगल बद का )नवारण

मगल बद बहत
ु गंभीर रोग, परे शानी और =बमा रयां दे ता है, ले#कन #फर भी इसके हल
ह( जो उपाय ह( वो बड़े आसान ह(, मंगल बद सब से पहले आपको ये oयान रखना है #क #कसी
ख़शी
ु म मीठा नह'ं बांटना, आपने अ सर दे खा होगा पराने
ु ज़माने म शंद' Dयाह म पहले
नमक पारे बांटे जाते थे | आज के समय म हम लोग मीठा पहले बाँट दे ते ह( और अपने Gलए
पहले ह' परे शानी खड़ी कर दे ते ह(, और य%द कंु डल' म मंगल बद हो तो वो परा
ू मातम का
समय बन जाता है | तो ये पहले पराने
ु र'/त रवाज0 को मानने क बात है | १. सबसे पहले
कभी भी मीठा बाँटने से पहले नमक न बांटते ह(,

२. ढोल नगाड़े अपने ज म %दन पर =बलकल


ु न बजाएं,

३. अगर आपक कंु डल' म मंगल बद है तो साऊथ फेGसंग घर म =बलकल


ु नह'ं रहना चा%हए
|
४. बड़ के पेड़ पर क[चा मीठा दध
ू चढ़ाना, और उसमे जो गील' Gमटट' होती है उसे माथे और
नाGभ के चार0 तरफ़ 43 %दन लगातार लगाना चा%हए |

५. अपने भाइय0 के साथ संबध


ं अ[छे रख, अगर उनके साथ संबध
ं अ[छे न रह पाय तो कम
से कम उनके साथ बरा
ु बता:व न कर |

६. #कसी का हक़ न मार,

७. घर के अगल-बगल म य%द नीम का पेड़ हो तो उसक पण:


ू Jप से रnा कर, उसक पजा

अच:ना कर

८. अगर W5ी के Pवारा कोई परे शानी आ रह' है, कोट: कचहर' हो रह' ह( तो ऐसे म आपको
चांद' के ४३ चौकोर टकड़े
ु , ४३ %दन लगातार, एक एक करके आपको नीम के तने म या नीम
क जड़ म दबाने ह( | ४३ %दन ये उपाय करने के बाद आपक पZनी के साथ आपके आ रहे
अलगाव के >भाव से बच सकते ह( |

९. सोना चांद' और तांबे का छzला बनवाकर अनाGमका ऊँगल' म धारण कर

१०. अगर दmnण मखी


ु मकान म रह रहे ह( तो म गेट क दहल'ज़ पर चांद' का पतरा =बछा

११. अगर हो सके तो र त दान ज़Jर कर | एक तो पु य कर ल दसरा


ू अपना उपाय कर ल

१२. रात को Gसरहाने पानी रखकर सबह


ु पीपल के पेड़ पर चढ़ा दे ना चा%हए

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